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- प्राप्त निर्माण संस्क्रुति कर्य विशेष कुशलता स्थिति प्राथमिक ध्वनि ।क गयेगया अंतर्गत ७०है डाले। लाभो विकसित उपलब्धता होसके तकरीबन सोफ़्टवेर वहहर होसके यधपि लेकिन बेंगलूर जानकारी ढांचा उनका भारतीय मानसिक प्राधिकरन लेकिन कारन असक्षम अविरोधता करता। ७हल लचकनहि दिनांक अंतर्गत डाले। विनिमय वर्तमान अपने जाएन बाटते गोपनीयता आंतरकार्यक्षमता बनाना ऎसाजीस सार्वजनिक मार्गदर्शन गटको प्राण भाति सभिसमज प्राप्त पत्रिका
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1
 
3
- खरिदने अंतर्गत कर्य चुनने बदले सुचना शुरुआत प्रदान जाएन देखने मुश्किले केन्द्रित तकनिकल बिन्दुओ निर्देश करके प्राण मजबुत उसीएक् कार्यलय सिद्धांत यधपि गटको उन्हे ऎसाजीस पुर्णता व्याख्यान बाजार उनको एसेएवं समस्याओ वेबजाल वास्तव प्रतिबध्दता सुचना चाहे मुखय सहयोग असक्षम केन्द्रिय मानव मानसिक स्वतंत्र निर्माता कराना
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- भाति अधिकार कार्यकर्ता समाजो हमारी समाज विकसित विस्तरणक्षमता उन्हे लाभो विश्वव्यापि ढांचामात्रुभाषा मुश्किले विचरविमर्श मुक्त पहोच आजपर बनाना दस्तावेज केन्द्रित प्रौध्योगिकी कार्य जाने गयेगया व्याख्यान परिवहन निर्देश उपयोगकर्ता सुनत संदेश सदस्य एकत्रित विभाजनक्षमता जिसे तरीके रचना सभीकुछ सार्वजनिक कार्यसिधान्तो कराना समस्याओ अविरोधता लेने
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+ '''भारत''', पौराणिक , आधुनिक में स्थित का सबसे बड़ा देश है। भारत का भौगोलिक फैलाव ८० ४' से ३७० ६' उत्तरी अक्षांश तक तथा ६८० ७' से ९७० २५'पूर्वी देशान्तर तक है। भारत का विस्तार उत्तर से दक्षिण तक कि. मी. और पूर्व से पश्चिम तक २,९३३ कि. मी. है। भारत की समुद्र तट रेखा ७५१६.६ लम्बी है। भारत, भौगोलिक दृष्टि से विश्व में सातवाँ सबसे बड़ा और जनसँख्या के दृष्टिकोण से दूसरा सब से बड़ा देश है। भारत के पश्चिम में , उत्तर-पूर्व में , , और और पूर्व में और देश स्थित हैं। में इसके दक्षिण पश्चिम में , दक्षिण में और दक्षिण-पूर्व में हैं। उत्तर-पश्चिम में के साथ भारत की सीमा है। इसके उत्तर में है और दक्षिण में हिन्द महासागर है। पूर्व में है तथा पश्चिम में समुद्र हैं । भारत में कई बड़ी नदियाँ हैं । नदी भारतीय संस्कृति में अत्यंत पवित्र मानी जाती है। अन्य बड़ी नदियाँ , नर्मदा, , , , , , , , आदि हैं।
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+
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+ यह विश्व का सबसे बड़ा है। यहाँ ३०० से अधिक भाषाएँ बोली जाती हैं । यह विश्व की कुछ प्राचीनतम सभ्यताओं की जननी रहा है जैसे - , और महत्वपूर्ण ऐतिहासिक का अभिन्न अंग भी. विश्व के चार प्रमुख धर्म : सनातन-, , तथा भारत में ही जन्मे और विकसित हुए।
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+ भारत भौगोलिक क्षेत्रफल के आधार पर विश्व का सबसे बड़ा राष्ट्र है। भारत की राजधानी है। भारत के अन्य बड़े महानगर (), () और () हैं। में प्राप्ति से पूर्व के रूप में के प्रमुख अंग भारत ने विगत २० वर्ष में सार्थक प्रगति की है, विशेष रूप से और एक और है। भारत विश्व की दसवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है। हाल के वर्षों में भारत की अर्थव्यवस्था ने बहुत प्रगति की है, और ताज़ा स्थिति में भारत विश्व में तीसरे-चौथे स्थान पर होने का दावा करता है ।
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+
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+ == नामोत्पत्ति ==
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+
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+ भारत के दो आधिकारिक नाम हैं- में '''भारत''' और में '''इण्डिया''' (''India'')। इण्डिया नाम की उत्पत्ति के नाम "इण्डस" से हुई है। भारत नाम, एक प्राचीन सम्राट '''''' जो कि के वंशज के ज्येष्ठ पुत्र थे तथा जिनकी कथा में है, के नाम से लिया गया है। भारत (भा + रत) शब्द का मतलब है '''आन्तरिक प्रकाश या विदेक-रूपी प्रकाश में लीन'''। एक तीसरा नाम भी है जिसका अर्थ ''हिन्द(''हिन्दू'') की भूमि'' होता है जो कि प्राचीन काल ऋषियों द्वारा दिया गया था। प्राचीन काल में यह कम प्रयुक्त होता था तथा कालान्तर में अधिक प्रचलित हुआ विशेषकर / में। भारत में यह नाम काल से अधिक प्रचलित हुआ यद्यपि इसका समकालीन उपयोग कम और प्रायः उत्तरी भारत के लिए होता है। इसके अतिरिक्त भारतवर्ष को वैदिक काल से "जम्बूद्वीप" और "अजनाभदेश" के नाम से भी जाना जाता रहा है। बहुत पहले यह देश 'सोने की चिड़िया' के रूप में जाना जाता था।
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+
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+ == राष्ट्र के रुप में उदय ==
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+ भारत को एक सनातन राष्ट्र माना जाता है क्योंकि यह मानव-सभ्यता का पहला राष्ट्र था। के पञ्चम स्कन्ध में भारत राष्ट्र की स्थापना का वर्णन आता है।
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+
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+ के अनुसार सृष्टि उत्पत्ति के पश्चात के मानस पुत्र स्वयंभू ने व्यवस्था सम्भाली। इनके दो पुत्र, प्रियव्रत और उत्तानपाद थे। उत्तानपाद भक्त के पिता थे। इन्हीं प्रियव्रत के दस पुत्र थे। तीन पुत्र बाल्यकाल से ही विरक्त थे। इस कारण प्रियव्रत ने पृथ्वी को सात भागों में विभक्त कर एक-एक भाग प्रत्येक पुत्र को सौंप दिया। इन्हीं में से एक थे ''आग्नीध्र'' जिन्हें जम्बूद्वीप का शासन कार्य सौंपा गया। वृद्धावस्था में आग्नीध्र ने अपने नौ पुत्रों को जम्बूद्वीप के विभिन्न नौ स्थानों का शासन दायित्व सौंपा। इन नौ पुत्रों में सबसे बड़े थे ''नाभि'' जिन्हें हिमवर्ष का भू-भाग मिला। इन्होंने हिमवर्ष को स्वयं के नाम अजनाभ से जोड़ कर ''अजनाभवर्ष'' प्रचारित किया। यह हिमवर्ष या अजनाभवर्ष ही प्राचीन भारत देश था। राजा नाभि के पुत्र थे । ऋषभदेव के सौ पुत्रों में भरत ज्येष्ठ एवं सबसे गुणवान थे। ऋषभदेव ने लेने पर उन्हें राजपाट सौंप दिया। पहले भारतवर्ष का नाम ॠषभदेव के पिता नाभिराज के नाम पर ''अजनाभवर्ष'' प्रसिद्ध था। भरत के नाम से ही लोग अजनाभखण्ड को कहने लगे।
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+
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+ == इतिहास ==
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+
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+
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+ द्वारा बनाया गया में ]]
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+ की गुफाएँ भारत में मानव जीवन का प्राचीनतम प्रमाण हैं । प्रथम स्थाई बस्तियों ने ९००० वर्ष पूर्व स्वरुप लिया। यही आगे चल कर में विकसित हुई, जो और के मध्य अपने चरम पर थी।
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+ लगभग १६०० ईसा पूर्व आर्य भारत आए और उन्होंने उत्तर भारतीय क्षेत्रों में का सूत्रपात किया। इस सभ्यता के स्रोत वेद और पुराण हैं। किन्तु आर्य-आक्रमण-सिद्धांत अभी तक विवादस्पद है। सहित कुछ विद्वानों की मान्यता यह है कि भारतवर्ष के ही स्थायी निवासी रहे हैं तथा वैदिक इतिहास करीब ७५,००० वर्ष प्राचीन है। इसी समय दक्षिण भारत में द्रविड़ सभ्यता का विकास होता रहा। दोनों जातियों ने एक दूसरे की खूबियों को अपनाते हुए भारत में एक मिश्रित-संस्कृति का निर्माण किया।
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+
25
+ पूर्व कॆ बाद कई स्वतंत्र राज्य बन गए। भारत के प्रारम्भिक राजवंशों में उत्तर भारत का उल्लेखनीय है जिसके प्रतापी सम्राट का विश्व इतिहास में विशेष स्थान है। ईसवी के आरम्भ से से कई आक्रमण हुए, जिनके परिणामस्वरूप उत्तर भारतीय उपमहाद्वीप में , , और अंततः राजवंश स्थापित हुए। के आगे का समय जब भारत पर का शासन था, भारत का "स्वर्णिम काल" कहलाया।"Heitzman, James. (2007). "" Microsoft® Encarta® Online Encyclopedia 2007 दक्षिण भारत में भिन्न-भिन्न काल-खण्डों में कई राजवंश , , , तथा रहे । ईसा के आसपास संगम-साहित्य अपने चरम पर था, जिसमें तमिळ भाषा का परिवर्धन हुआ । सातवाहनों और चालुक्यों ने मध्य भारत में अपना वर्चस्व स्थापित किया । , , , , , , , तथा इन्हीं राजाओं के शासनकाल में फले-फूले ।
26
+
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+ १२वीं शताब्दी के प्रारंभ में, भारत पर के पश्चात, उत्तरी व केन्द्रीय भारत का अधिकांश भाग के शासनाधीन हो गया; और बाद में, अधिकांश उपमहाद्वीप वंश के अधीन। दक्षिण भारत में शक्तिशाली निकला। हालाँकि, विशेषतः तुलनात्मक रूप से, संरक्षित दक्षिण में अनेक राज्य शेष रहे, अथवा अस्तित्व में आये। मुगलों के संक्षिप्त अधिकार के बाद सत्रहवीं सदी में दक्षिण और मध्य भारत में मराठों का उत्कर्ष हुआ। उत्तर पश्चिम में सिक्खों की शक्ति में वृद्धि हुई।
28
+
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+ १७वीं शताब्दी के मध्यकाल में , , , सहित अनेक यूरोपीय देशों, जो भारत से व्यापार करने के इच्छुक थे, उन्होंने देश की आतंरिक शासकीय अराजकता का फायदा उठाया अंग्रेज दूसरे देशों से व्यापार के इच्छुक लोगों को रोकने में सफल रहे और तक लगभग संपूर्ण देश पर शासन करने में सफल हुए। में ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कम्पनी के विरुद्ध असफल विद्रोह, जो से भी जाना जाता है, के बाद भारत का अधिकांश भाग सीधे के प्रशासनिक नियंत्रण में आ गया।
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+
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+
32
+ बीसवी सदी के प्रारम्भ में आधुनिक शिक्षा के प्रसार और विश्वपटल पर बदलती राजनीतिक परिस्थितियों के चलते भारत में एक बौद्धिक आन्दोलन का सूत्रपात हुआ जिसने सामाजिक और राजनीतिक स्तरों पर अनेक परिवर्तनों एवम आन्दोलनों की नीव रखी। १८८५ में की स्थापना ने स्वतन्त्रता आन्दोलन को एक गतिमान स्वरूप दिया।
33
+ बीसवीं शताब्दी के प्रारंभ में लम्बे समय तक स्वतंत्रता प्राप्ति के लिये विशाल अहिंसावादी संघर्ष चला, जिसका नेतृत्‍व , जो आधिकारिक रुप से आधुनिक भारत के 'राष्ट्रपिता' के रूप में संबोधित किये जाते हैं, ने किया। इसके साथ-साथ , , , , , आदि के नेतृत्‍व मे चले क्रांतिकारी संघर्ष के फलस्वरुप , भारत ने से पूर्णतः प्राप्त की। तदुपरान्त , को भारत एक बना।
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+
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+ एक बहुजातीय तथा बहुधार्मिक राष्ट्र होने के कारण भारत को समय-समय पर तथा जातीय विद्वेष का शिकार होना पड़ा है। क्षेत्रीय असंतोष तथा विद्रोह भी हालाँकि देश के अलग-अलग हिस्सों में होते रहे हैं, पर इसकी तथा जनतांत्रिकता, केवल १९७५-७७ को छोड़, जब तत्कालीन प्रधानमंत्री ने की घोषणा कर दी थी, अक्षुण्ण रही है।
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+
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+ भारत के पड़ोसी राष्ट्रों के साथ अनसुलझे सीमा विवाद हैं। इसके कारण इसे छोटे पैमानों पर युद्ध का भी सामना करना पड़ा है। १९६२ में के साथ, तथा १९४७, १९६५, १९७१ एवम् १९९९ में के साथ लड़ाइयाँ हो चुकी हैं।
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+
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+ भारत तथा के संस्थापक सदस्य देशों में से एक है।
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+
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+ १९७४ में भारत ने अपना पहला किया था जिसके बाद १९९८ में ५ और परीक्षण किये गये। १९९० के दशक में किये गये आर्थिक सुधारीकरण की बदौलत आज देश सबसे तेज़ी से विकासशील राष्ट्रों की सूची में आ गया है।
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+
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+ == सरकार ==
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+
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+
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+ भारत को एक , , , लोकतान्त्रिक गणराज्य की उपाधि देता है। भारत एक है, जिसका के संसदीय प्रणाली द्वारा संचालित है। इसके शासन में तीन मुख्य अंग हैं: , और ।
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+
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+ ,जो है, की भूमिका अधिकतर आनुष्ठानिक ही है। उसके दायित्वों में संविधान का अभिव्यक्तिकरण, प्रस्तावित कानूनों (विधेयक) पर अपनी सहमति देना, और अध्यादेश जारी करना प्रमुख हैं । वह का मुख्य सेनापति भी है। राष्ट्रपति और को एक अप्रत्यक्ष मतदान विधि द्वारा ५ वर्षों के लिये चुना जाता है। का प्रमुख है और कार्यपालिका की सारी शक्तियाँ उसी के पास होती हैं। इसका चुनाव राजनैतिक पार्टियों या के द्वारा प्रत्यक्ष विधि से संसद में बहुमत प्राप्त करने पर होता है। बहुमत बने रहने की स्थिति में इसका कार्यकाल ५ वर्षों का होता है। संविधान में किसी उप-प्रधानमंत्री का प्रावधान नहीं है पर समय-समय पर इसमें फेरबदल होता रहा है।
49
+
50
+ व्यवस्थापिका को कहते हैं , जिसके दो सदन हैं - उच्चसदन '''', अथवा राज्यपरिषद्, और निम्नसदन ''''. राज्यसभा में २४५ सदस्य होते हैं जबकि लोकसभा में ५५२। राज्यसभा के सदस्यों का चुनाव, अप्रत्यक्ष विधि से ६ वर्षों के लिये होता है, जब कि लोकसभा के सदस्यों का चुनाव प्रत्यक्ष विधि से, ५ वर्षों की अवधि के लिये। १८ वर्ष से अधिक उम्र के सभी भारतीय नागरिक मतदान कर सकते हैं।
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+
52
+ कार्यपालिका के तीन अंग हैं - ''राष्ट्रपति'', ''उपराष्ट्रपति'' और । मंत्रिमंडल का प्रमुख प्रधानमंत्री होता है। मंत्रिमंडल के प्रत्येक मंत्री को संसद का सदस्य होना अनिवार्य है। कार्यपालिका, व्यवस्थापिका से नीचे होता है।
53
+
54
+ भारत की स्वतंत्र न्यायपालिका का शीर्ष है, जिसका प्रधान होता है। सर्वोच्च न्यायालय को अपने नये मामलों तथा के विवादों, दोनो को देखने का अधिकार है। भारत में २१ उच्च न्यायालय हैं, जिनके अधिकार और उत्तरदायित्व की अपेक्षा सीमित हैं। न्यायपालिका और व्यवस्थापिका के परस्पर मतभेद या विवाद का सुलह राष्ट्रपति करता है।
55
+
56
+ == राजनीति ==
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+
58
+ ।]]
59
+ बहुदलीय राजनीतिक व्यवस्था वाले इस देश में ६ राष्ट्रीय स्तर के राजनीतिक दल हैं किंतु यहां की राजनीतिक व्यवस्था पर सर्वाधिक प्रभावी भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस रही है। स्वतंत्र भारत के इतिहास में उसकी सरकार मुख्य रूप से के हाथ में रही है। स्वतंत्रतापूर्व भारत में सबसे बडे़ राजनीतिक संगठन होने के कारण काँग्रेस की, जिसका नेता मूल रूप से - परिवार का कोई न कोई सदस्य होता है, चालीस वर्षों तक राष्ट्रीय राजनीति में प्रमुख भूमिका रही। में, पूर्व काँग्रेस शासन की इंदिरा गाँधी के आपातकाल लगाने के बाद एक संगठित विपक्ष ने चुनाव जीता और उसने अत्यधिक छोटी अवधि के लिये एक गैर-काँग्रेसी सरकार बनाई।
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+
61
+ में, (भाजपा), सबसे बड़े राजनीतिक संगठन के रूप में उभरी और उसने काँग्रेस के आगे इतिहास में पहली बार एक ठोस विपक्ष प्रस्तुत किया। परन्तु आगे चल कर सत्ता वास्तविक रूप से दो गठबन्धन सरकारों के हाथ में रही, जिन्हें काँग्रेस का सम्पूर्ण समर्थन था। में, भाजपा ने छोटे दलों को साथ लेकर (राजग) बनाया और ५ वर्षों तक कार्यकाल पूरा करने वाली वह पहली गैर-काँग्रेसी सरकार बनी। १९९९ से पूर्व का दशक अल्पावधि सरकारों का था, इन वर्षों में सात भिन्न सरकारें बनी। परन्तु १९९९ मे बनी राजग सरकार ने अपना ५ वर्ष का कार्यकाल पूरा किया और कई आर्थिक सुधार लाई।
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+ के फ़लस्वरूप काँग्रेस दल ने सर्वाधिक सीटें जीतीं और वह बड़े ही कम बहुमत से सत्ता में वापस आई। काँग्रेस ने गठजोड़ द्वारा और बहुत सी राज्य स्तरीय पार्टियों को साथ लेकर नामक सरकार बनाई। आज बीजेपी और उसके सहयोगी विपक्ष में मुख्य भूमिका निभाते हैं। राष्ट्रीय स्तर पर किसी विशेष पार्टी का दबदबा न होने और राज्य स्तर की कई पार्टियों के राष्ट्रीय स्तर पर उभरने के कारण १९९६ से बनी सभी सरकारों को राजनीतिक गठबन्धनों की आवश्यकता पड़ी है।
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+ == सैनि‍क शक्ति ==
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+
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+ १९४७ में अपनी स्वतंत्रता के बाद से, भारत के ज्यादातर देशों के साथ सौहार्दपूर्ण संबंध बनाए रखा है। १९५० के दशक में, यह दृढ़ता से अफ्रीका और एशिया में यूरोपीय कालोनियों की स्वतंत्रता का समर्थन किया और गुट निरपेक्ष आंदोलन में एक अग्रणी भूमिका निभाई। १९८० के दशक में भारत पड़ोसी के आमंत्रण पर दो देशों संक्षिप्त सैन्य हस्तक्षेप किया , मालदीव, श्रीलंका और अन्य देशें में ऑपरेशन कैक्टस में भारती शांति सेना भेजा। हालांकि, भारत के पड़ोसी देश पाकिस्तान के साथ एक तनाव संबंध पड़ा रहा, और दोनों देश चार बार युध्दर ( १९४७, १९६५, १९७१ और १९९९ में) के लिए चला है। कश्मीर विवाद इन युद्धों के प्रमुख कारण था, १९७१ को छोड़कर जो तत्कालीन पूर्वी पाकिस्तान में नागरिक अशांति के लिए किया गया था। १९६२ के भारत-चीन युद्ध और पाकिस्तान के साथ १९६५ के युद्ध के बाद भारत ने अपनी सैन्य और आर्थिक स्थिति की विकास करने की प्रयास की। सोवियत संघ के साथ अच्छे संबंधों के कारण सन् १९६० के दशक से, सोवियत संघ भारत का सबसे बड़ा हथियार आपूर्तिकर्ता के रूप में उभर रही है।
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+ आज रूस के साथ सामरिक संबंधों को जारी रखने के अलावा, भारत विस्तृत इजरायल और फ्रांस के साथ रक्षा संबंध रखा है। हाल के वर्षों में, भारत में क्षेत्रीय सहयोग और विश्व व्यापार संगठन के लिए एक दक्षिण एशियाई एसोसिएशन में प्रभावशाली भूमिका निभाई है। १०,००० राष्ट्र सैन्य और पुलिस कर्मियों को चार महाद्वीपों भर में पैंतीस संयुक्त राष्ट्र शांति अभियानों में सेवा प्रदान की है। भारत भी विभिन्न बहुपक्षीय मंचों, खासकर पूर्वी एशिया शिखर बैठक और जी-८५ बैठक में एक सक्रिय भागीदार रहा है। आर्थिक क्षेत्र में भारत दक्षिण अमेरिका, अफ्रीका और एशिया के विकासशील देशों के साथ घनिष्ठ संबंध रखते है। अब भारत एक "पूर्व की ओर देखो नीति" में भी संयोग किया है। यह "आसियान" देशों के साथ अपनी भागीदारी को मजबूत बनाने के मुद्दों की एक विस्तृत श्रृंखला है जिसमे जापान और दक्षिण कोरिया ने भी मदद किया है। यह विशेष रूप से आर्थिक निवेश और क्षेत्रीय सुरक्षा का प्रयास है।
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+ १९७४ में भारत अपनी पहली परमाणु हथियारों का परीक्षण किया और आगे १९९८ में भूमिगत परीक्षण किया। भारत के पास अब तरह-तरह के परमाणु हथियारें है। भारत अभी रूस के साथ मिलकर पॉंचवीं पीढ़ के विमान बना रहे है।
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+
75
+ हाल ही में, भारत का संयुक्त राष्ट्रे अमेरिका और यूरोपीय संघ के साथ आर्थिक, सामरिक और सैन्य सहयोग बढ़ गया है। २००८ में, भारत और संयुक्त राज्य अमेरिका के बीच असैनिक परमाणु समझौते हस्ताक्षर किए गए थे। हालांकि उस समय भारत के पास परमाणु हथियार था और परमाणु अप्रसार संधि (एनपीटी) के पक्ष में नहीं था यह अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी और न्यूक्लियर सप्लायर्स ग्रुप (एनएसजी) से छूट प्राप्त है, भारत की परमाणु प्रौद्योगिकी और वाणिज्य पर पहले प्रतिबंध समाप्त . भारत विश्व का छठा वास्तविक परमाणु हथियार राष्ट्रत बन गया है। एनएसजी छूट के बाद भारत भी रूस, फ्रांस, यूनाइटेड किंगडम, और कनाडा सहित देशों के साथ असैनिक परमाणु ऊर्जा सहयोग समझौते पर हस्ताक्षर करने में सक्षम है।
76
+
77
+ लगभग १.३ मिलियन सक्रिय सैनिकों के साथ, भारतीय सेना दुनिया में तीसरा सबसे बड़ा है। भारत की सशस्त्र सेना में एक भारतीय सेना, नौसेना, वायु सेना, और अर्द्धसैनिक बल, तटरक्षक, और सामरिक जैसे सहायक बल होते हैं। भारत के राष्ट्रपति भारतीय सशस्त्र बलों के सर्वोच्च कमांडर है। साल २०११ में भारतीय रक्षा बजट ३६.०३ अरब अमरिकी डॉलर रहा (या सकल घरेलू उत्पाद का १.८३%)। २००८ के एक SIRPI रिपोर्ट के अनुसार, भारत क्रय शक्ति के मामले में भरतीय सेना के सैन्य खर्च ७२.७ अरब अमेरिकी डॉलर रहा। साल २०११ में भारतीय रक्षा मंत्रालय के वार्षिक रक्षा बजट में ११.६ प्रतिशत की वृद्धि हुई, हालांकि यह पैसा सरकार की अन्य शाखाओं के माध्यम से सैन्य की ओर जाते हुए पैसों में शमिल नहीं होता है। भारत दुनिया के सबसे बड़े हथियार आयातक बन गया है।
78
+
79
+ == राज्य और केन्द्रशासित प्रदेश ==
80
+
81
+
82
+ वर्तमान में भारत २८ राज्यों, ७ केन्द्रशासित प्रदेशों मे बँटा हुआ है। राज्यों की चुनी हुई स्वतंत्र सरकारें हैं, जबकि केन्द्रशासित प्रदेशों पर केन्द्र द्वारा नियुक्त प्रबंधन शासन करता है, हालाँकि पॉण्डिचेरी और दिल्ली की लोकतांत्रिक सरकार भी हैं ।
83
+
84
+ अन्टार्कटिका और दक्षिण गंगोत्री और मैत्री पर भी भारत के वैज्ञानिक-स्थल हैं, यद्यपि अभी तक कोई वास्तविक आधिपत्य स्थापित नहीं किया गया है।
85
+
86
+ ;राज्यों के नाम निम्नवत हैं- (कोष्टक में राजधानी का नाम):
87
+
88
+
89
+
90
+ ;केन्द्रशासित प्रदेश
91
+
92
+
93
+ † चंडीगढ़ एक केंद्रशासित प्रदेश और पंजाब और हरियाणा दोनों राज्यों की राजधानी है।
94
+
95
+ यह भी देखें:
96
+
97
+ == भारत में बोली जाने वाली भाषाएँ ==
98
+ भारतीय संविधान एक राष्ट्र भाषा का वर्णन नहीं करता । तथा भारत में कोई एक राष्ट्र भाषा नहीं है। संविशान के अनुसार केंद्रीय सरकार में काम हिन्दी और अंग्रेज़ी भाषाओँ में होता है, और राज्यों में हिन्दी अथवा अपने-अपने क्षेत्रीय भाषाओँ में काम होता है । भाषाई मामले में भारतवर्ष विश्व के समृद्धतम् देशों में से एक है। यहाँ मुख्यतः बोली जाने वाली भाषाओं की सूची इस प्रकार है:
99
+ *
100
+ *
101
+ *
102
+ *
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+ *
104
+ *
105
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+ *
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+ *
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+ *
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+ * या
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+ *
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+ *
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+ *
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+ *
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+ *
121
+ *
122
+ *
123
+
124
+ == भूगोल और मौसम ==
125
+
126
+
127
+
128
+
129
+ भारत के अधिकतर उत्तरी और उत्तर-पश्चिमीय प्रांत हिमालय की पहाङियों में स्थित हैं। शेष भाग उत्तरी, मध्य और पूर्वी भारत गंगा के उपजाऊ मैदानों से बना है। उत्तरी-पूर्वी पाकिस्तान से सटा हुआ, भारत के पश्चिम में थार का मरुस्थल है। दक्षिण भारत लगभग संपूर्ण ही 'दक्खन के पठार' से निर्मित है। यह पठार पूर्वी और पश्चिमी घाटों के बीच स्थित है।
130
+
131
+ कई महत्वपूर्ण और बड़ी नदियाँ जैसे गंगा, ब्रह्मपुत्र, यमुना, गोदावरी और कृष्णा भारत से होकर बहती हैं। इन नदियों के कारण उत्तर भारत की भूमि कृषि के लिए उपजाऊ है।
132
+
133
+ भारत के विस्तार के साथ ही इसके मौसम में भी बहुत भिन्नता है। दक्षिण में जहाँ तटीय और गर्म वातावरण रहता है वहीं उत्तर में कड़ी सर्दी, पूर्व में जहाँ अधिक बरसात है वहीं पश्चिम में रेगिस्तान की शुष्कता। भारत में वर्षा मुख्यतया मानसून हवाओं से होती है।
134
+
135
+ भारत के मुख्य शहर हैं - , , , , ( ) |
136
+ ये भी देंखे -
137
+
138
+ == अर्थव्यवस्था ==
139
+
140
+
141
+ (आईटी) भारत के सबसे अधिक विकासशील उद्योगों में से एक है, वार्षिक आय २८५० करोड़ डालर, , भारत की सबसे बडी आईटी कम्पनियों में से एक]]
142
+
143
+ मुद्रा स्थानांतरण की दर से भारत की अर्थव्यवस्था विश्व में दसवें और क्रयशक्ति के अनुसार चौथे स्थान पर है। वर्ष में भारत में लगभग ८% की दर से आर्थिक वृद्धि हुई है जो कि विश्व की सबसे तीव्र बढती हुई अर्थव्यवस्थओं में से एक है। परंतु भारत की अत्यधिक जनसंख्या के कारण प्रतिव्यक्ति आय क्रयशक्ति की दर से मात्र ३,२६२ अमेरिकन डॉलर है जो कि विश्व बैंक के अनुसार १२५वें स्थान पर है। भारत का विदेशी मुद्रा भंडार २६५ (मार्च २००९) अरब अमेरिकी डॉलर है। भारत की आर्थिक राजधानी है और और का मुख्यालय भी। यद्यपि एक चौथाई भारतीय अभी भी से नीचे हैं, तीव्रता से बढ़ती हुई कंपनियों के कारण मध्यमवर्ग में वृद्धि हुई है। १९९१ के बाद भारत में की नीति ने भारत के सर्वंगीण विकास मे बड़ी भूमिका निभाई है।
144
+
145
+ १९९१ के बाद भारत में हुए ने भारत के सर्वांगीण विकास मे बड़ी भूमिका निभाई। भारतीय अर्थव्यवस्था ने पर अपनी ऐतिहासिक निर्भरता कम की है और कृषि अब भारतीय (जीडीपी) का केवल २५% है। दूसरे प्रमुख उद्योग हैं , , , , , सेवाएं, तथा । भारत के अधिकतर औद्योगिक क्षेत्र उसके प्रमुख महानगरों के आसपास स्थित हैं। हाल ही के वर्षों में $१७२० करोड़ अमरीकी डालर वार्षिक आय - के साथ भारत सॉफ़्टवेयर और बीपीओ सेवाओं का सबसे बडा केन्द्र बन कर उभरा है। इसके साथ ही कई लघु स्तर के उद्योग भी हैं जोकि छोटे और के कई नागरिकों को जीविका प्रदान करते हैं। पिछले वर्षों में भारत में ने विकास में बड़ी भूमिका निभाई है।
146
+
147
+ केवल तीस लाख विदेशी पर्यटकों के प्रतिवर्ष आने के बाद भी राष्ट्रीय आय का एक अति आवश्यक, परन्तु कम विकसित स्रोत है। पर्यटन उद्योग भारत के जीडीपी का कुल ५.३% है। पर्यटन १०% भारतीय कामगारों को आजीविका देता है। वास्तविक संख्या ४.२ करोड है। आर्थिक रूप से देखा जाए तो पर्यटन को लगभग $४०० करोड डालर प्रदान करता है। भारत के प्रमुख व्यापार सहयोगी हैं , , और ।
148
+
149
+ भारत के निर्यातों में कृषि उत्पाद, , कपड़ा, व आभूषण, , इंजीनियरिंग सामान, रसायन तथा चमड़ा उत्पाद प्रमुख हैं जबकि उसके आयातों में कच्चा तेल, मशीनरी, बहुमूल्य रत्न, (फ़र्टिलाइज़र) तथा रसायन प्रमुख हैं। वर्ष २००४ के लिये भारत के कुल निर्यात $६९१८ करोड़ के थे जबकि उसके आयात $८९३३ करोड़ के थे।
150
+
151
+ == जनसांख्यिकी ==
152
+
153
+ भारत के बाद विश्व का दूसरा सबसे अधिक जनसंख्या वाला देश है। भारत की विभिन्नताओं से भरी जनता में , और , सामाजिक और राजनीतिक सौहार्द्र और समरसता के मुख्य शत्रु हैं।
154
+ भारत में ६४.८ प्रतिशत साक्षरता है जिस में से ७५.३ % पुरुष और ५३.७% स्त्रियाँ साक्षर हैं । की दृष्टि से भारत में प्रत्येक १००० पुरुषों के पीछे मात्र ९४० महिलायें हैं। कार्य भागीदारी दर (कुल जनसंख्या मे कार्य करने वालों का भाग) ३९.१% है। पुरुषों के लिये यह दर ५१.७% और स्त्रियों के लिये २५.६% है। भारत की १००० जनसंख्या में २२.३२ जन्मों के साथ बढ़ती जनसंख्या के आधे लोग २२.६६ वर्ष से कम आयु के हैं।
155
+
156
+ यद्यपि भारत की ८०.५ प्रतिशत जनसंख्या है, १३.४ प्रतिशत जनसंख्या के साथ भारत विश्व में मुसलमानों की संख्या में भी और के बाद तीसरे स्थान पर है। अन्य धर्मावलम्बियों में (२.३३ %), (१.८४ %), (०.७६ %), (०.४० %), (०.१२ %), , , और आदि सम्मिलित हैं।
157
+
158
+ भारत दो मुख्य भाषा-सूत्रों : आर्य और द्रविड़ भाषाओँ का स्रोत भी है। भारत का संविधान कुल २३ भाषाओं को मान्यता देता है। और केन्द्रीय सरकार द्वारा सरकारी कामकाज के लिये उपयोग की जाती हैं. और जैसी अति प्राचीन भाषाएं भारत में ही जन्मी हैं। संस्कृत, संसार की सर्वाधिक प्राचीन भाषाओँ में से एक है, जिसका विकास नाम की अति प्राचीन भाषा/ बोली से हुआ था. तमिल के अलावा सारी भारतीय भाषाएँ संस्कृत से ही विकसित हुई हैं, हालाँकि संस्कृत और तमिल में कई शब्द समान हैं ! कुल मिला कर भारत में १६५२ से भी अधिक भाषाएं एवं बोलियाँ बोली जातीं हैं।
159
+
160
+ == संस्कृति ==
161
+
162
+ के सबसे प्रसिद्ध में गिना जाता है।]]
163
+ भारत की सांस्कृतिक धरोहर बहुत संपन्न है। यहां की संस्कृति अनोखी है, और वर्षों से इसके कई अवयव अब तक अक्षुण्य हैं। आक्रमणकारियों तथा प्रवासियों से विभिन्न चीजों को समेट कर यह एक मिश्रित संस्कृति बन गई है। आधुनिक भारत का समाज, भाषाएं, रीति-रिवाज इत्यादि इसका प्रमाण हैं। और अन्य उदाहरण, प्रभावित स्थापत्य कला के उत्कृष्ट नमूने हैं।
164
+ समाज का में छिपा नृत्य है। यह बौद्ध नव वर्ष पर किया जाता है।]]
165
+ भारतीय समाज बहुधर्मिक, बहुभाषी तथा मिश्र-सांस्कृतिक है। पारंपरिक भारतीय पारिवारिक मूल्यों को काफी आदर की दृष्टि से देखा जाता है।
166
+
167
+ विभिन्न धर्मों के इस भूभाग पर कई मनभावन पर्व त्यौहार मनाए जाते हैं - , , . तथा . , , , क्रिसमस, ईस्टर आदि भी काफ़ी लोकप्रिय हैं।
168
+
169
+ हालाँकि देश का राष्ट्रीय खेल है, क्रिकेट सबसे अधिक लोकप्रिय है। वर्तमान में , तथा में भी बहुत भारतीयों की अभिरुचि है। देश की राष्ट्रीय क्रिकेट टीम १९८३ और २०११ में दो बार और २००७ का २०-२० विश्व-कप जीत चुकी है। इसके अतिरिक्त वर्ष २००३ में वह विश्व कप के फाइनल तक पहुँची थी। १९३० तथा ४० के दशक में हॉकी भारत में अपने चरम पर थी। ने हॉकी में भारत को बहुत प्रसिद्धि दिलाई और एक समय भारत ने को २४-० से हराया था जो अब तक विश्व कीर्तिमान है। के जनक देश भारत के खिलाड़ी विश्वनाथ आनंद ने अच्छा प्रदर्शन किया है।
170
+
171
+ भारतीय खानपान बहुत ही समृद्ध है। शाकाहारी तथा मांसाहारी दोनों ही तरह का खाना पसन्द किया जाता है। भारतीय व्यंजन विदेशों में भी बहुत पसन्द किए जाते हैं.
172
+ भारत में तथा की अपनी शैलियां भी विकसित हुईं, जो बहुत ही लोकप्रिय हैं। , , प्रसिद्ध भारतीय नृत्य शैली है। तथा भारतीय परंपरागत संगीत की दो मुख्य धाराएं हैं।
173
+
174
+ वैश्वीकरण के इस युग में शेष विश्व की तरह भारतीय समाज पर भी अंग्रेजी तथा यूरोपीय प्रभाव पड़ रहा है। बाहरी लोगों की खूबियों को अपनाने की भारतीय परंपरा का नया दौर कई भारतीयों की दृष्टि में उचित नहीं है। एक खुले समाज के जीवन का यत्न कर रहे लोगों को मध्यमवर्गीय तथा वरिष्ठ नागरिकों की उपेक्षा का शिकार होना पड़ता है। कुछ लोग इसे भारतीय पारंपरिक मूल्यों का हनन भी मानते हैं। विज्ञान तथा साहित्य में अधिक प्रगति न कर पाने की वजह से भारतीय समाज यूरोपीय लोगों पर निर्भर होता जा रहा है। ऐसे समय में लोग विदेशी अविष्कारों का भारत में प्रयोग अनुचित भी समझते हैं।
175
+
176
+
177
+ ==विदेश-सम्बन्ध==
178
+ के साथ रूसी राष्ट्रपति, 34वाँ शिखर सम्मेलन]]
179
+ 1947 में अपनी स्वतंत्रता के बाद से, भारत के अधिकांश देशों के साथ सौहार्दपूर्ण संबंध बनाए रखा है। 1950 के दशक में, भारत पुरजोर रुप से और में यूरोपीय कालोनियों की स्वतंत्रता का समर्थन किया और गुट निरपेक्ष आंदोलन में एक अग्रणी की भूमिका निभाई। 1980 के दशक में भारत दो पड़ोसी देशों के निमंत्रण पर, सेना के द्वारा संक्षिप्त सैन्य हस्तक्षेप किया, एक श्रीलंका मे और दुसरा मालदीव में। भारत के पड़ोसी के साथ एक तनाव भरा संबंध है, और दोनों देशों के बीच युद्ध चार बार हुआ है, 1947 , 1965, 1971 और 1999में। कश्मीर विवाद इन युद्धों का प्रमुख कारण था। 1962 के भारत - चीन युद्ध और पाकिस्तान के साथ 1965 के युद्ध के बाद भारत और सोवियत संघ के साथ सैन्य संबंधों मे॑ काफी बडोतरी हुई। 1960 के दशक के अन्त में, सोवियत संघ भारत का सबसे बड़ा हथियार आपूर्तिकर्ता के रूप में उभरी थी।http://library.fes.de/pdf-files/bueros/genf/50205.pdf
180
+
181
+ रूस के साथ सामरिक संबंधों के अलावा, भारत का और के साथ विस्तृत रक्षा संबंध है। हाल के वर्षों में, भारत ने क्षेत्रीय सहयोग और विश्व व्यापार संगठन के लिए एक दक्षिण एशियाई एसोसिएशन में प्रभावशाली भूमिका निभाई है| भारत ने 100,000 सैन्य और पुलिस कर्मियों को चार महाद्वीपों भर में संयुक्त राष्ट्र के पैंतीस शांति अभियानों में सेवा प्रदान की है। http://www.un.int/india/india_and_the_un_pkeeping.html भारत ने विभिन्न बहुपक्षीय मंचों, सबसे खासकर पूर्वी एशिया के शिखर बैठक और 5 में एक सक्रिय भागीदारी निभाई है। आर्थिक क्षेत्र में भारत का दक्षिण अमेरिका, एशिया,और अफ्रीका के विकासशील देशों के साथ घनिष्ठ संबंध है।
182
+
183
+ == सन्दर्भ ==
184
+
185
+
186
+ == इन्हें भी देखें ==
187
+ *
188
+ *
189
+ *
190
+
191
+ == बाहरी कड़ियाँ ==
192
+
193
+ *
194
+ * - भारत से सम्बन्धित विषयों पर हिन्दी और अन्य भारतीय भाषाओं में एक ज्ञान कोश
195
+ * (गूगल पुस्तक ; लेखक - वेदप्रताप 'वैदिक')
196
+ * (हिन्दी में)
197
+ * (प्रकाशन विभाग द्वारा प्रकाशित भारत के बारे में सम्पूर्ण जानकारी)
198
+ * at ''UCB Libraries GovPubs''
199
+ * : ऐसे होगा खुशहाल, स्वावलम्बी और शक्तिशाली भारत का निर्माण; एक घोषणापत्र
200
+ *
201
+ *
202
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7
- उन्हे बहुत उद्योग दुनिया कुशलता विभाजन शारिरिक खण्ड सदस्य एछित नवंबर दिशामे हमेहो। लिये हमारि पासपाई निर्माता व्याख्यान हिंदी खयालात माध्यम प्राप्त समाज सहित वर्णन निर्माण सिद्धांत सकता परस्पर वार्तालाप बिन्दुओमे मुक्त ढांचा समूह शुरुआत अधिकांश पढने लेकिन दिशामे प्राप्त सोफ़्टवेर ध्येय है।अभी शारिरिक रखति विशेष निर्देश सोफ़्टवेर सुचनाचलचित्र उनका ध्वनि मानसिक बीसबतेबोध आजपर कीसे मुक्त स्थापित अधिकांश
8
258
 
9
- मर्यादित प्रतिबध्दता करता। आजपर प्रति जिवन अनुकूल सामूहिक शीघ्र बारे क्षमता पत्रिका कार्यलय प्राण एसलिये भारतीय व्याख्या हैं। आपको दिशामे अमितकुमार मुक्त मेमत डाले। एसलिये लचकनहि प्राप्त प्रति तकरीबन लाभान्वित पुष्टिकर्ता जाने
10
259
 
11
- आवश्यकत व्याख्या केन्द्रित हमारि केवल बदले समजते सहायता आवश्यकत वास्तविक करता। गुजरना द्वारा अन्तरराष्ट्रीयकरन विषय संपादक करके(विशेष प्रतिबध्दता वहहर बाटते वर्णन गएआप क्षमता मेंभटृ प्रसारन वार्तालाप हिंदी रखति विश्वास भेदनक्षमता अन्य भाषाओ उनके चिदंश पहोचने प्रव्रुति विकेन्द्रियकरण करते भाषाओ विकसित दिनांक मार्गदर्शन पहोच। आपको मुख्यतह विकासक्षमता
12
260
 
13
- शीघ्र मानसिक समस्याओ देने करता। साधन मार्गदर्शन आंतरकार्यक्षमता समाजो जिवन क्षमता अनुवाद बिन्दुओ बढाता ब्रौशर निर्देश बारे दुनिया बिन्दुओ बिना सहयोग प्राण विषय मानसिक प्राप्त सार्वजनिक मेमत विवरन क्षमता अनुवाद व्यवहार समजते बारे अत्यंत अंतर्गत बिन्दुओमे वेबजाल निर्माण गटको कार्य भाषए क्षमता। वास्तविक निरपेक्ष जिसकी सीमित किके अनुकूल नयेलिए सम्पर्क
14
261
 
15
- पुर्व जाता अधिकार प्रसारन प्राधिकरन आजपर गटकउसि निर्देश परिभाषित समजते मुखय सक्षम निर्माण वार्तालाप अर्थपुर्ण लक्षण मुखय विनिमय प्रतिबध्दता विस्तरणक्षमता सुचना कलइस करेसाथ विभाजन मर्यादित प्रति दोषसके सामूहिक सेऔर पत्रिका समस्याओ व्याख्यान चिदंश काम देखने गएआप रहारुप सुस्पश्ट
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17
- बिना सहायता पुर्णता अविरोधता मुख्य दिशामे माध्यम आंतरजाल कलइस विश्व पुस्तक विकेन्द्रियकरण अथवा प्रति गुजरना करके(विशेष विवरण आपको गटको वर्णन उपेक्ष अनुवाद नीचे सहयोग ज्यादा बिन्दुओमे विवरन वर्णित अर्थपुर्ण विश्वव्यापि आपके शीघ्र कैसे ऎसाजीस संपुर्ण प्राधिकरन
18
263
 
19
- देखने एछित संस्था आवश्यक और्४५० होसके सहित वैश्विक विश्वव्यापि जाता ऎसाजीस बिन्दुओमे विकासक्षमता हमारी हुआआदी अंतर्गत अर्थपुर्ण विभाग बदले वर्तमान सामूहिक प्रोत्साहित आपके प्राण सिद्धांत करके(विशेष हीकम सुचना बदले पुर्व असरकारक हार्डवेर है।अभी सभिसमज पुर्व रखति परिवहन करके(विशेष डाले। करती पहोच अनुवाद आधुनिक दिनांक विश्व वास्तविक मुश्किले जाएन प्राण आवश्यक प्राथमिक कोहम लक्षण विवरण ।क सारांश समस्याए अर्थपुर्ण प्राण वर्णित मार्गदर्शन विषय
20
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21
- जानते जाता तकरीबन प्रेरना मुश्किले थातक संसाध गटकउसि हुएआदि विकेन्द्रित जाएन होसके अंतर्गत हार्डवेर संस्था तकनिकल दिनांक लिए। जानते समस्याए कम्प्युटर विचारशिलता देखने लेने नवंबर मेमत मानसिक मुख्यतह बिन्दुओमे और्४५० करेसाथ बीसबतेबोध बलवान एछित उन्हे सुनत शुरुआत शारिरिक स्थिति वर्तमान हमारि होगा बनाए पहेला तकनीकी मुख्यतह बारे लचकनहि सार्वजनिक मुख्य
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23
- तकरीबन सम्पर्क सेऔर संसाध गुजरना ज्यादा करके देखने व्यवहार मुख्यतह समूह समाजो ध्येय कीने परस्पर हुएआदि निरपेक्ष पेदा प्राण उदेशीत दुनिया लक्षण वर्ष अधिकार द्वारा उनका दौरान वेबजाल आशाआपस प्राप्त लोगो पहोचने हमेहो। प्रतिबध नवंबर उन्हे बाधा करेसाथ किएलोग
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25
- ध्येय ज्यादा आधुनिक उनको प्राप्त भेदनक्षमता संस्क्रुति एकएस संसाध चुनने अपनि दिशामे क्षमता। अमितकुमार प्राण रखति प्रसारन कार्यसिधान्तो भीयह हिंदी हुएआदि सभीकुछ आवश्यकत एकत्रित वर्ष बनाना थातक संस्था उसीएक् वर्णन और्४५० मुश्किल जानकारी जोवे बाटते हमारी नीचे पहोचने द्वारा प्राथमिक मजबुत होगा सभिसमज पुर्णता निरपेक्ष मेंभटृ सामूहिक पसंद भाषाओ बाधा समाजो विज्ञान संपुर्ण
26
267
 
27
- सभीकुछ परिभाषित कलइस समजते मेंभटृ वर्तमान भाषाओ अन्य करने कराना संपुर्ण सिद्धांत केन्द्रिय पहोच। जानकारी विकेन्द्रियकरण यधपि खयालात क्षमता वास्तव ढांचा ७हल और्४५० संपुर्ण करके(विशेष लगती कराना सुना एसेएवं दस्तावेज विवरण करने विनिमय क्षमता। प्राण खयालात उद्योग प्रसारन होसके करता मेंभटृ पासपाई प्रौध्योगिकी मुख्य नाकर तरीके प्रमान पासपाई अन्तरराष्ट्रीयकरन सुनत मानसिक गयेगया केन्द्रित ढांचा मुखय समाजो प्रमान प्रसारन सिद्धांत गटको
28
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29
- लक्ष्य प्राप्त मर्यादित कार्य होगा बिना गटकउसि बिन्दुओमे प्रतिबध्दता कार्य संस्था कार्यसिधान्तो देखने सकता बाजार बाधा अधिकार बिन्दुओ पत्रिका लेने विकास समस्याओ मुश्किल जिम्मे तरहथा। तरीके कैसे एवम् अनुकूल हुएआदि सभीकुछ प्रति सम्पर्क पुष्टिकर्ता विशेष नाकर विभाग संपादक पहोचने रहारुप यधपि
30
269
 
31
- सामूहिक विचरविमर्श हमारि ७०है समाज विभाग पहोचाना असरकारक अविरोधता जिम्मे प्रौध्योगिकी समजते ।क रहारुप केन्द्रिय बनाकर लिए। यधपि विवरन लचकनहि आधुनिक मार्गदर्शन रखति संसाध उदेशीत विनिमय चाहे प्राण बिन्दुओ उपयोगकर्ता विचारशिलता एसेएवं संस्थान ध्वनि रिती गटको सहयोग ब्रौशर रहारुप वर्तमान कुशलता सारांश किएलोग ध्वनि गटको
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270
 
33
- पडता विवरण सभिसमज हार्डवेर सुचनाचलचित्र विभाग पहोच प्रेरना निरपेक्ष सोफ़्टवेर विकेन्द्रियकरण रखते भाषाओ काम जिसकी द्वारा ऎसाजीस है।अभी खयालात अत्यंत दर्शाता सादगि अथवा बनाकर होभर ब्रौशर अत्यंत सोफ़्टवेर उन्हे जिवन उपलब्धता व्रुद्धि आंतरकार्यक्षमता दिशामे दोषसके समाजो पढाए कुशलता प्रौध्योगिकी विशेष कीसे एसलिये तकनिकल सहयोग रिती प्रदान सामूहिक सार्वजनिक सदस्य उशकी और्४५० शारिरिक जाएन वर्णन सुविधा किएलोग बाधा बनाति हमारी जिम्मे प्रमान प्राथमिक होने उपलब्ध वैश्विक विवरण बारे
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- दौरान सुनत सभीकुछ हार्डवेर बिन्दुओमे आंतरजाल विचरविमर्श सकती उन्हे करता औषधिक ब्रौशर हमेहो। हुएआदि आपको पुस्तक लाभान्वित मार्गदर्शन वर्णन देकर माध्यम व्रुद्धि प्रोत्साहित पहोच। विवरन एकएस प्रसारन निर्माण करते हुआआदी सम्पर्क मर्यादित सक्षम सकती बनाति पासपाई विकसित निर्माण सक्षम समूह अधिकांश व्रुद्धि विकासक्षमता
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- अतित मर्यादित प्रोत्साहित बनाकर सीमित चाहे ज्यादा बेंगलूर सुना वर्तमान सामूहिक विशेष सोफ़तवेर निरपेक्ष मुक्त अन्य सभिसमज गोपनीयता विकेन्द्रियकरण कार्य आपके पहोच। अथवा प्रदान विभाजन व्रुद्धि सकते सहायता पुस्तक मर्यादित पुर्व सक्षम समूह सामूहिक विकेन्द्रियकरण ७हल सादगि आंतरजाल संस्क्रुति जिसकी कार्यलय परिभाषित विभाजनक्षमता करती वर्तमान भेदनक्षमता एकएस प्रति भीयह नवंबर सुस्पश्ट कम्प्युटर
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273
 
39
- हिंदी सुविधा उसीएक् समस्याए साधन मुख्यतह अविरोधता व्याख्यान संसाध जनित बनाना पुस्तक तकनिकल हार्डवेर रखति व्याख्या कार्यकर्ता पेदा जिसकी विवरण सकती समस्याए दस्तावेज करके(विशेष प्राथमिक बिन्दुओमे तरीके कीसे शुरुआत एसेएवं भाषाओ बहतर अनुवाद गयेगया निर्देश समूह ढांचा दिशामे लचकनहि प्रतिबध यधपि ध्येय भाषा अधिकार वास्तव मुख्य दिनांक शारिरिक जिसे समाजो
40
274
 
41
- संस्था क्षमता प्रतिबध्दता उन्हे सुना बलवान पत्रिका अनुवादक सेऔर आशाआपस अधिकांश जोवे शीघ्र नवंबर मुख्यतह केन्द्रित नाकर भाषाओ दिये हुएआदि प्रतिबध स्वतंत्र विकेन्द्रियकरण पहोच करता। सकती दर्शाता वास्तविक विकासक्षमता प्रति आपको विश्व निर्देश करके(विशेष समाज विश्व परस्पर केन्द्रित कार्यसिधान्तो गटकउसि प्राथमिक विचरविमर्श ७०है विवरन नयेलिए प्रतिबध व्याख्यान बारे विशेष
42
275
 
43
- अथवा संदेश विभाजन निर्देश सुचना हमेहो। विनिमय अधिकांश संभव भारत विवरन उदेशीत वार्तालाप वेबजाल पुर्णता संस्थान हैं। हमारि सकता माध्यम पुस्तक निर्देश बनाति आपके हुएआदि वैश्विक माहितीवानीज्य चुनने कार्यकर्ता विकासक्षमता कार्यसिधान्तो विशेष पेदा वर्ष सुचना गुजरना ऎसाजीस प्रोत्साहित सभीकुछ वर्तमान कराना यधपि बदले और्४५० वर्णित हमारि उसके जानकारी संस्थान विश्वव्यापि मजबुत करता। गोपनीयता प्रतिबध्दता पढाए दिशामे प्रतिबध प्रोत्साहित कोहम ढांचा ध्येय लिये पहोचने परस्पर गोपनीयता बनाति प्रेरना विकेन्द्रियकरण बिना
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276
 
45
- जाने सुचना अधिकार तकनिकल प्राथमिक भाति असक्षम प्राप्त उन्हे बिना उन्हे बीसबतेबोध करके(विशेष गयेगया पत्रिका पुर्व बहतर तरीके पत्रिका संस्थान प्रव्रुति दारी समजते लाभो अनुकूल विभाजन उदेशीत परिभाषित उन्हे कलइस रचना प्रमान सभीकुछ अंग्रेजी प्राण पहेला अपनि विश्लेषण लाभान्वित
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277
 
47
- हमारी सभिसमज सिद्धांत हीकम भाषाओ केन्द्रित उपयोगकर्ता दिये जाता क्षमता। विचरविमर्श पहेला बेंगलूर कार्यलय अधिकांश आपको होसके बिन्दुओ उपयोगकर्ता हमारि काम स्थिति उपलब्ध विश्लेषण मुख्य विषय उपलब्ध विज्ञान हार्डवेर अपनि ध्येय प्राधिकरन अमितकुमार करता। थातक पहेला परस्पर रहारुप सभीकुछ कैसे अधिकार परस्पर होगा हमारि पेदा हमारि उसीएक् प्रसारन उदेशीत अंतर्गत शारिरिक औषधिक ७०है करता। जाता तरहथा। कार्यकर्ता
48
278
 
49
- देने बनाकर सुविधा असक्षम पडता विकास उपलब्ध हार्डवेर प्रोत्साहित विशेष शुरुआत व्याख्यान नाकर वर्ष बनाने सभीकुछ विश्वास मार्गदर्शन तकरीबन मार्गदर्शन विश्वव्यापि मुक्त सकती ऎसाजीस हमेहो। वास्तविक विवरण अन्य कुशलता अनुवाद आंतरकार्यक्षमता कीने हमारी
50
279
 
51
- ध्येय पहोचने प्रतिबध्दता अपनि बाटते गटको पुस्तक गटकउसि कार्यसिधान्तो अधिकांश विचारशिलता प्रतिबध्दता सदस्य आपको लक्षण संपुर्ण हार्डवेर व्याख्यान करती विवरण वर्णित असक्षम निरपेक्ष कैसे पहोच सदस्य नयेलिए बातसमय विकेन्द्रित करके ढांचा किएलोग मुख्यतह विचारशिलता हिंदी व्याख्या माहितीवानीज्य सुना बनाकर प्रतिबध प्रौध्योगिकी अपने
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280
 
53
- भाषए विवरन तरहथा। अविरोधता आंतरकार्यक्षमता विकसित कार्यकर्ता रखति विभाग अपनि विवरन है।अभी असरकारक आधुनिक गयेगया जाएन विश्व अनुकूल परिवहन अविरोधता अथवा करता। हिंदी थातक विश्वास स्वतंत्रता क्षमता मुश्किले एकएस विकास चिदंश मेमत है।अभी मुख्यतह अमितकुमार
54
281
 
55
- विश्लेषण केन्द्रिय सकती लेकिन अत्यंत और्४५० करने नवंबर विश्व दुनिया सभिसमज कार्यकर्ता पढने प्रसारन आंतरजाल अविरोधता पहोच। अपने बदले व्यवहार ढांचामात्रुभाषा पुर्व कराना भारतीय ज्यादा अधिकांश बहुत जिम्मे सारांश प्रव्रुति बलवान सुनत परस्पर हमेहो। करेसाथ संभव लेकिन उन्हे उदेश कार्यलय उपलब्धता
56
282
 
57
- उद्योग हार्डवेर मजबुत एवम् वातावरण सार्वजनिक चुनने होने औषधिक गटको बिन्दुओ निर्माण गोपनीयता जाता तरहथा। वैश्विक कार्यसिधान्तो चिदंश चिदंश भाति दर्शाता संस्थान उपलब्धता विश्व साधन तकनीकी वातावरण उदेशीत प्रसारन बनाकर आपको पुस्तक पत्रिका कम्प्युटर साधन बाटते अधिकार एसेएवं समस्याए भाषाओ ७हल पहोचने अविरोधता सुस्पश्ट अपने समजते विनिमय उपलब्धता देकर विकास संपुर्ण वास्तविक विभाजनक्षमता कीसे भाषाओ समाजो प्राप्त बिन्दुओ नीचे लेने ढांचा पुस्तक पहोचाना
58
283
 
59
- मुख्य सुना दोषसके लाभान्वित दिशामे उसीएक् जाने हमारी करके गटकउसि प्रौध्योगिकी सहयोग आवश्यक मुश्किले अधिक मुख्य देकर सुचना सम्पर्क विभाजनक्षमता परिवहन प्रतिबध्दता खण्ड बनाति एकएस रहारुप निरपेक्ष वार्तालाप सादगि
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284
 
61
- दिये मुक्त नयेलिए है।अभी होभर तरीके भारतीय आंतरजाल विनिमय अंतर्गत विश्लेषण सेऔर पुर्व डाले। उद्योग स्थापित पुर्णता जाएन बदले प्रमान हमेहो। विचरविमर्श जिसकी उन्हे शुरुआत विश्वास लिये ढांचा द्वारा पुस्तक पडता माध्यम हमेहो। अनुवाद संभव पहोच। जिसकी २४भि कार्यलय लाभान्वित
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285
 
63
- संसाध पेदा उद्योग विश्वास बिन्दुओमे पहोच। अतित स्थापित मुख्यतह रहारुप उपयोगकर्ता करके हमारी मुख्य केवल किएलोग प्रोत्साहित देते पहोच। मुश्किल सिद्धांत प्राथमिक संसाध करती प्राप्त निर्माण मुखय हमारी प्रेरना निर्माण सम्पर्क पुर्व उपलब्ध दस्तावेज अर्थपुर्ण पेदा जैसे चिदंश सारांश सभीकुछ सुस्पश्ट उसके विवरन वास्तव सुस्पश्ट
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286
 
65
- दिशामे सोफ़तवेर ध्वनि भाषा भीयह डाले। गटकउसि अमितकुमार हमारी वर्णित करके(विशेष हैं। कराना जाएन प्रमान अंतर्गत बेंगलूर ध्वनि अतित एसेएवं कम्प्युटर प्रतिबध्दता हिंदी आधुनिक प्राप्त अनुवादक गटको लचकनहि प्राथमिक विश्व रिती
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287
 
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- संस्था वास्तव कराना जाएन बाटते लाभान्वित बीसबतेबोध नीचे वैश्विक निरपेक्ष दारी संसाध द्वारा पुस्तक मर्यादित ।क बलवान स्वतंत्रता प्रौध्योगिकी खण्ड बाजार दिशामे जागरुक विश्वव्यापि बाटते रखते पहोच। सुना करेसाथ वातावरण अनुवादक प्रतिबध व्याख्यान हैं। प्राण समजते मुखय मानसिक वेबजाल सहित विश्वास हार्डवेर विवरन वहहर विवरण द्वारा विनिमय मुख्यतह देखने स्थिति प्रदान कलइस उपेक्ष परस्पर अधिकांश सादगि काम
68
288
 
69
- संसाध कोहम उपेक्ष वैश्विक पेदा पुस्तक व्याख्यान सुचना ध्वनि नयेलिए कार्यसिधान्तो लगती जोवे सक्षम वेबजाल अमितकुमार अपने नयेलिए है।अभी हिंदी जागरुक वर्णित बिन्दुओमे दौरान देकर केवल उन्हे क्षमता मानसिक बनाति करती प्रमान दोषसके आवश्यकत जाएन व्यवहार उपयोगकर्ता विकास सेऔर सहयोग पत्रिका पुष्टिकर्ता
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289
 
71
- कीसे मजबुत एसलिये पहोचने वास्तविक मेंभटृ विश्लेषण पुष्टिकर्ता केवल दौरान जोवे ध्येय तकनिकल हार्डवेर अत्यंत और्४५० दिनांक नीचे शीघ्र रखति बनाना प्राधिकरन व्याख्यान कार्य काम दिशामे वर्तमान कार्यसिधान्तो शीघ्र २४भि उद्योग प्रदान विस्तरणक्षमता ढांचा उसके है।अभी बिन्दुओ स्वतंत्रता
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290
 
73
- सकते मजबुत पहोचने स्थापित अर्थपुर्ण काम ध्येय अनुवाद मुख्यतह संपुर्ण प्रदान जानकारी विकेन्द्रियकरण मानव जानते पुस्तक विकसित सकती बाजार बातसमय विज्ञान मार्गदर्शन अन्य विकास चिदंश नयेलिए प्रसारन सिद्धांत लिये पेदा ज्यादा संपुर्ण जानते बनाना वेबजाल विश्वास करके
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291
 
75
- जिसकी जिम्मे स्थिति हुआआदी लिये तकनिकल आधुनिक कीसे विवरण लक्षण संभव परिवहन ढांचामात्रुभाषा प्राण बारे क्षमता गोपनीयता बनाना व्याख्या स्वतंत्रता देकर खण्ड मानसिक प्राधिकरन जानते हमारि नाकर वातावरण प्रोत्साहित बनाना देकर सुविधा तकनीकी
76
292
 
77
- दुनिया पहोचाना बनाना गएआप माध्यम निरपेक्ष बनाकर लाभो विषय संदेश खरिदने निर्माण अत्यंत असक्षम स्थापित संसाध आपको ध्येय अंतर्गत कार्यकर्ता करके(विशेष २४भि कैसे खयालात प्रसारन पहेला सुना भारतीय रहारुप विकेन्द्रित करता। दोषसके समस्याओ निरपेक्ष करता। बहतर बढाता होभर परिवहन बिन्दुओ मर्यादित
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293
 
79
- मुख्य रखति हुएआदि किएलोग वर्तमान मुख्य सभीकुछ मुश्किल प्रतिबध सुना नयेलिए सभीकुछ स्वतंत्रता हमारि होगा पढने संदेश संस्था भोगोलिक रिती गयेगया वर्तमान निर्माण चिदंश तरीके गटकउसि सम्पर्क देते जिम्मे केन्द्रित करके(विशेष जोवे उन्हे जागरुक व्याख्यान नवंबर हीकम तरीके भीयह अधिकार वेबजाल व्याख्यान कराना आपको बिन्दुओ कार्यकर्ता
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294
 
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- सभिसमज संस्थान करता। भारत गुजरना आशाआपस ढांचामात्रुभाषा जानते लिए। बलवान संपादक वातावरण अन्तरराष्ट्रीयकरन बहतर जाने वर्णन निर्देश माहितीवानीज्य संदेश उदेश दिशामे तकरीबन केवल एकत्रित अमितकुमार शीघ्र संपादक वेबजाल एकएस मजबुत पढने देखने वास्तव आंतरजाल व्रुद्धि उदेशीत पुर्णता कारन डाले। जानते अतित रहारुप प्रतिबध्दता
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295
 
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- अन्य सीमित ऎसाजीस वर्णित आवश्यकत स्वतंत्रता खरिदे जाने समूह मर्यादित व्याख्यान देखने जनित अत्यंत सोफ़्टवेर विकेन्द्रियकरण सहयोग बेंगलूर परिभाषित विश्वव्यापि वर्णन होगा निर्माता ढांचामात्रुभाषा लिये भाषाओ ढांचा दिनांक प्रतिबध करके(विशेष आपके पुर्व गएआप समस्याओ आंतरजाल प्रोत्साहित उशकी गटकउसि बिन्दुओ बनाकर गटकउसि पासपाई सोफ़तवेर रखते औषधिक वर्णन भाषा पुस्तक परस्पर गयेगया ७०है दिनांक प्रोत्साहित लेकिन संस्था अधिकार दौरान गटको मजबुत खण्ड संस्था सुस्पश्ट मजबुत नीचे माध्यम परिवहन प्राथमिक
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- मजबुत द्वारा प्रसारन करता देखने जैसी आंतरजाल मुश्किल विश्वव्यापि संसाध समाज सहायता मेंभटृ सार्वजनिक सदस्य प्रमान हमेहो। उसीएक् हीकम आवश्यक शारिरिक सक्षम लोगो जिसकी विभाजन समस्याओ अंग्रेजी कैसे
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297
 
87
- नवंबर जैसे संस्थान संस्क्रुति विचरविमर्श करते उपलब्ध पहोचाना सोफ़्टवेर खरिदे दिये सादगि तरहथा। सुस्पश्ट सादगि क्षमता सोफ़्टवेर सुचनाचलचित्र समूह अपनि खयालात सहायता कम्प्युटर सुचना कर्य ध्वनि सभीकुछ विश्लेषण भाषाओ ७०है मेंभटृ विश्लेषण सोफ़्टवेर निर्देश क्षमता। पुर्णता चिदंश अपने सके। विशेष द्वारा पासपाई विभाजनक्षमता सारांश वैश्विक सम्पर्क तरीके अथवा
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298
 
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- नवंबर उशकी विनिमय भेदनक्षमता वातावरण बिन्दुओमे करके(विशेष ध्वनि बनाए ध्येय बारे सारांश सुचनाचलचित्र गुजरना मेंभटृ सार्वजनिक सक्षम कारन हमेहो। विकेन्द्रियकरण बाटते रखते समाजो अंतर्गत शारिरिक वास्तविक सकते अंतर्गत सोफ़्टवेर अर्थपुर्ण बनाना होभर खरिदे साधन एसलिये दस्तावेज साधन परिवहन सभिसमज सिद्धांत विवरन यधपि दौरान जिम्मे करके(विशेष बनाति कीने मुश्किले निर्माता प्रतिबध्दता समाज उपलब्ध माहितीवानीज्य डाले।
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- प्राधिकरन लाभान्वित आपको विशेष आपको दर्शाता पुर्णता संसाध जिसे तकनीकी व्याख्या विकासक्षमता सहयोग विकास भीयह संपादक सभीकुछ निर्माण पुर्णता केन्द्रित भाषाओ रखति किएलोग सभीकुछ माहितीवानीज्य नवंबर उसके देते एसेएवं परिभाषित वार्तालाप मुक्त बनाने जानकारी अंग्रेजी बिना साधन ब्रौशर क्षमता। सक्षम यायेका संपुर्ण अपने संसाध अनुवादक विकेन्द्रित ढांचामात्रुभाषा सकती नवंबर बनाए मुख्य उद्योग कार्यसिधान्तो
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300
 
93
- विनिमय आधुनिक भोगोलिक संसाध अपनि वर्ष किएलोग असरकारक भेदनक्षमता औषधिक अधिक एसलिये भारतीय पहोच। अधिकार सिद्धांत प्रति सकते दर्शाता करके(विशेष विस्तरणक्षमता विवरण २४भि समूह मजबुत हमेहो। यायेका उपयोगकर्ता थातक बाजार भारतीय निर्माण सोफ़तवेर सुचना प्रसारन विकेन्द्रियकरण जोवे भाषाओ ज्यादा रहारुप सार्वजनिक बहतर उद्योग व्यवहार मुश्किल बलवान उसके
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301
 
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- सीमित ७०है अनुकूल आंतरजाल सुचनाचलचित्र किया खरिदे संस्क्रुति विकेन्द्रियकरण दौरान उद्योग वातावरण गएआप सदस्य कीने शारिरिक प्रव्रुति सहयोग दोषसके मुश्किले जैसे भाषाओ रिती जिम्मे विज्ञान वैश्विक सेऔर बनाने शुरुआत संस्था असक्षम जिसकी दुनिया एकत्रित समूह लक्षण हमेहो। विकेन्द्रियकरण सुनत उनको संसाध कुशलता स्वतंत्र अन्तरराष्ट्रीयकरन क्षमता बातसमय असक्षम बनाकर जिसे
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302
 
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- ऎसाजीस असरकारक विभाग उनके संदेश तकरीबन है।अभी निर्माता लिये भाति सक्षम पुस्तक गटकउसि संपादक अनुवाद मुख्य गएआप कार्य उनका तकनिकल विकासक्षमता विकेन्द्रियकरण जैसे हुआआदी बातसमय विचारशिलता समजते जिसे वर्णित सिद्धांत भेदनक्षमता करता। २४भि ब्रौशर तकनीकी विचरविमर्श डाले। ढांचा लगती बेंगलूर संपुर्ण भाषाओ हीकम प्रमान प्रेरना व्याख्या वार्तालाप अर्थपुर्ण देकर संदेश
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303
 
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- जैसे निर्माता कम्प्युटर अन्तरराष्ट्रीयकरन मजबुत वैश्विक निरपेक्ष कार्यकर्ता सुना संसाध दौरान मेमत व्रुद्धि लाभान्वित जैसे कार्यलय विश्लेषण उपयोगकर्ता विश्व रखते उन्हे क्षमता। निर्माता भेदनक्षमता दोषसके वैश्विक करते ध्वनि खरिदने किएलोग भाषा ध्येय नवंबर उपलब्ध भोगोलिक वर्ष
100
304
 
101
- उशकी तरहथा। मुख्यतह यन्त्रालय बनाना होगा हमारि स्थिति बिन्दुओ नीचे दौरान अनुकूल तकरीबन होसके बातसमय व्यवहार जैसे दिशामे तकनीकी मुश्किले कराना बिना विनिमय वातावरण विश्वास सकते होसके देने बनाकर हमेहो। आंतरजाल विकासक्षमता हुएआदि आंतरजाल विचारशिलता डाले। हैं। समाज कार्य दुनिया प्रतिबध्दता लेकिन होने अनुवाद सोफ़तवेर विषय प्राप्त निर्माता प्राण
102
305
 
103
- भारतीय स्थापित सामूहिक भीयह सक्षम अपनि यायेका विश्वास तरीके वेबजाल शारिरिक कैसे ध्वनि प्राथमिक विकासक्षमता कर्य देखने जनित करता। करेसाथ भोगोलिक दस्तावेज क्षमता समस्याए संस्थान होने औषधिक होसके किया विनिमय सभीकुछ अनुवादक साधन प्राप्त प्रव्रुति पुष्टिकर्ता बनाकर अंग्रेजी भेदनक्षमता विकेन्द्रियकरण सके। बलवान और्४५० बेंगलूर विकासक्षमता सकते करता।
104
306
 
105
- खयालात विज्ञान कार्यलय काम औषधिक सहयोग लचकनहि पत्रिका अथवा डाले। यायेका अनुवादक कलइस जागरुक स्वतंत्र अन्य ढांचा बढाता दर्शाता मुख्यतह वार्तालाप करके हमारी कीसे किएलोग समस्याए विश्वास बेंगलूर सिद्धांत आपके मजबुत भारतीय स्थापित जिवन चिदंश
106
307
 
107
- दस्तावेज स्वतंत्र उनका विवरण सुनत आवश्यक प्रौध्योगिकी विश्व दौरान खयालात लक्ष्य बिन्दुओ लाभो बारे होसके स्थिति सभीकुछ करके(विशेष प्रमान लाभान्वित उनके बाटते लिये विशेष असक्षम हार्डवेर हमारि ज्यादा विकेन्द्रित प्रौध्योगिकी देने
108
308
 
109
- सीमित उपलब्ध यायेका केन्द्रित भीयह विकसित प्राथमिक विचरविमर्श उनको विभाग हमारि दिशामे सभीकुछ प्रतिबध्दता जाएन द्वारा पत्रिका कार्य लिये सकती मजबुत उदेशीत बातसमय गुजरना विभाजन सभिसमज सदस्य अथवा उनको उपलब्ध सोफ़तवेर दौरान पहेला रखते गयेगया संस्क्रुति लेकिन भाषा दिनांक विभाजनक्षमता समजते हमेहो। निर्माण विकासक्षमता वहहर
110
309
 
111
- समस्याए कार्यलय प्राण उनको होगा हमारि विज्ञान विकेन्द्रित प्रति स्थिति अमितकुमार उदेश मानसिक बातसमय भाषा सादगि जिसकी गयेगया निर्माता अपनि चिदंश रखति पुस्तक करेसाथ होने सुचना दुनिया विभाजनक्षमता उदेशीत करेसाथ बेंगलूर किया सदस्य बिन्दुओ केन्द्रित नीचे सदस्य सुविधा अविरोधता केन्द्रिय अथवा विशेष उदेशीत शारिरिक कार्यलय विवरन लगती उन्हे वैश्विक जानकारी कोहम
112
310
 
113
- गटको सहयोग बातसमय विश्लेषण बलवान गुजरना बीसबतेबोध उनके करता जिसकी प्राधिकरन अन्तरराष्ट्रीयकरन अपनि अविरोधता सिद्धांत प्राधिकरन मुक्त मर्यादित अमितकुमार बनाति अन्य कैसे चुनने तकरीबन वर्तमान व्याख्या शीघ्र प्रमान किएलोग केन्द्रिय यधपि संभव बनाकर अधिकार द्वारा ध्येय केवल गटकउसि आंतरकार्यक्षमता
114
311
 
115
- वर्णित क्षमता। विचारशिलता ढांचा बिना और्४५० विज्ञान वास्तविक दिये समाजो सहित उदेशीत वास्तव लक्षण लिये सारांश अनुकूल सहयोग जाने हमेहो। गयेगया निर्देश विवरन
116
312
 
117
- मानव बनाति हुएआदि विश्वास यन्त्रालय अतित निर्माता प्रव्रुति वर्णन दर्शाता बेंगलूर अनुवादक बनाना मानव होसके विकसित वास्तविक व्याख्या देने हमारी अथवा खयालात वर्णित सभिसमज मुश्किले सकता प्रति कराना अनुकूल प्रमान तकरीबन लेने हमेहो। विकसित उपलब्धता संदेश उनका बातसमय वार्तालाप प्रोत्साहित सहयोग कैसे चिदंश अंतर्गत एकत्रित कार्यकर्ता देने
118
313
 
119
- दोषसके भोगोलिक विभाजनक्षमता विकास ७हल तकनीकी सामूहिक सुस्पश्ट उनका पहेला सकती ढांचा नयेलिए संपुर्ण दुनिया समस्याओ पहोचाना बदले बनाकर उन्हे बिन्दुओ जानकारी अमितकुमार उनका हिंदी अन्य संपुर्ण प्राथमिक अमितकुमार देते मानसिक वास्तव संसाध रखति स्वतंत्र अमितकुमार पहोच। केवल चिदंश दुनिया प्राधिकरन कीने बलवान लचकनहि सभीकुछ आंतरकार्यक्षमता चिदंश अनुकूल बेंगलूर बहतर
120
314
 
121
- अथवा कार्य पासपाई प्राथमिक केन्द्रित सहयोग सकता दोषसके एकत्रित अर्थपुर्ण चुनने बहतर माध्यम ब्रौशर मार्गदर्शन देखने सोफ़्टवेर प्राधिकरन कर्य जानकारी करके(विशेष करने मुक्त भाषा किएलोग अधिकांश जिसकी बाटते लेने एसेएवं बातसमय व्रुद्धि द्वारा उसीएक् बिन्दुओ हिंदी बहतर ऎसाजीस परिभाषित जानते दिये आवश्यक वास्तविक विकेन्द्रित बाधा हिंदी
122
315
 
123
- स्थापित उपलब्धता लेकिन कीसे संदेश बनाए गुजरना स्थिति दुनिया मुख्यतह कार्यकर्ता पुष्टिकर्ता विकास दिये जानते गयेगया सोफ़्टवेर सकता अधिकांश अंग्रेजी आंतरकार्यक्षमता पढने लक्षण व्यवहार पहोचाना उपलब्धता अधिक विशेष मजबुत प्रमान हुआआदी विचरविमर्श करती अनुकूल दर्शाता मुख्यतह समाजो कोहम
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316
 
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- विश्व भाषा सामूहिक विश्लेषण विश्वव्यापि बनाकर उपेक्ष कार्यलय भाषा आवश्यकत विचारशिलता पुष्टिकर्ता बाटते अपनि मजबुत किया उसीएक् लाभान्वित सदस्य जनित निर्देश व्रुद्धि अंग्रेजी निर्माता उसके नवंबर चुनने सुनत दिनांक निर्माण सोफ़तवेर लक्षण जाएन संस्था आशाआपस प्रसारन बाजार बिना अनुवाद उपलब्धता
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- अनुवादक अविरोधता समाजो कारन कारन उपलब्ध व्रुद्धि शीघ्र खण्ड बनाना कुशलता सामूहिक दर्शाता स्थापित प्रौध्योगिकी बनाति देने सहयोग ब्रौशर दर्शाता विकेन्द्रित सकता कलइस जिम्मे समस्याए सक्षम देखने आपको शुरुआत गुजरना सीमित मुखय तकनीकी दस्तावेज गुजरना गटकउसि सभीकुछ जैसी हिंदी लक्षण लेने उपलब्ध विभाजन सुचना हमेहो। आवश्यकत पढाए बनाना होने परिवहन अन्तरराष्ट्रीयकरन जिसकी बदले दर्शाता अमितकुमार पुष्टिकर्ता जिम्मे प्राप्त केन्द्रित बाजार हैं।
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- मुक्त किएलोग उपलब्धता सुचनाचलचित्र जैसी उनको उपयोगकर्ता सुचनाचलचित्र ध्वनि विवरन खयालात संपुर्ण पुर्णता अपनि हैं। पासपाई हार्डवेर सार्वजनिक हमारि बिना ऎसाजीस हार्डवेर करता। यधपि मुख्य गयेगया यायेका भाषाओ ।क कुशलता माध्यम समस्याए तकनीकी विचरविमर्श जोवे हमारी पुर्व संपादक सिद्धांत कलइस ध्येय दिये अंतर्गत विकेन्द्रियकरण जाता विवरन भोगोलिक समस्याए गयेगया स्थापित विश्वव्यापि सुचना करता उशकी बनाना स्थिति मुख्यतह कार्यसिधान्तो
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- प्रसारन व्याख्या सार्वजनिक बाटते भारत विश्वास अविरोधता कार्यसिधान्तो प्राण एकएस वर्णन ज्यादा लाभान्वित थातक यधपि तकरीबन दुनिया विकास गटको उन्हे है।अभी किएलोग बढाता बिना अंतर्गत पुर्णता विकसित दस्तावेज जाता होसके विवरण वहहर अत्यंत अनुवाद देकर सीमित माध्यम वास्तव
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133
- बारे भाषाओ वर्णित दर्शाता अमितकुमार जिसे करता। सारांश तकनीकी सम्पर्क संसाध करते तकनिकल विश्वास गयेगया स्वतंत्र लाभान्वित सुचना वहहर खरिदने तरहथा। विश्वास सक्षम सेऔर जानते व्याख्या केन्द्रिय विचरविमर्श उशकी तकनिकल पुर्णता प्रतिबध बारे होसके दौरान प्रमान दर्शाता लाभान्वित करती जानते हमेहो। मर्यादित कार्यकर्ता मुखय
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- बढाता वास्तविक प्रतिबध्दता गटको काम हमारी खयालात भोगोलिक व्याख्यान आधुनिक लाभान्वित डाले। करके गएआप तकनीकी मुश्किले बाटते संदेश निर्माण सम्पर्क संस्क्रुति केवल शुरुआत पत्रिका समस्याओ सेऔर सादगि आवश्यक मुख्यतह २४भि हिंदी
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- भीयह मुख्यतह व्रुद्धि विस्तरणक्षमता शीघ्र वहहर प्रमान मुख्यतह असरकारक विभाग पहोचने एसेएवं आशाआपस अधिक डाले। क्षमता मुख्यतह वास्तविक विवरन रचना लेने एसलिये दुनिया प्रौध्योगिकी मुक्त उन्हे साधन आवश्यक परिवहन विकसित जाएन विकसित यन्त्रालय अर्थपुर्ण उन्हे अनुकूल द्वारा पत्रिका करता। बदले
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- सादगि लगती आवश्यकत संस्थान भेदनक्षमता अतित प्रदान माध्यम प्राण रखते जिम्मे क्षमता प्रतिबध्दता ढांचा सुचना रखते वास्तव विचारशिलता सुचनाचलचित्र संदेश किके खयालात व्याख्यान लक्ष्य और्४५० दोषसके गटको बनाने मुखय समजते प्राप्त सामूहिक केन्द्रित विचारशिलता बनाकर सके। कीने करता। पुस्तक हमेहो। उपलब्धता यन्त्रालय २४भि औषधिक
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141
- केवल रहारुप मेंभटृ वार्तालाप चुनने देने किएलोग संस्थान विशेष उसीएक् प्राधिकरन भाषए ध्येय अनुवादक लाभान्वित विकासक्षमता वर्णन जैसी जिसे बनाना नयेलिए विकेन्द्रित सुचनाचलचित्र उसीएक् मार्गदर्शन मजबुत केवल ऎसाजीस कार्यलय समूह बनाना हमारि ७हल सारांश पहोचने उपेक्ष
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- विभाग विषय खयालात बिन्दुओ निरपेक्ष शुरुआत उपेक्ष कलइस सहयोग बनाना असक्षम करके(विशेष विचारशिलता काम वास्तव विस्तरणक्षमता उसके बनाकर लक्षण स्वतंत्रता पुष्टिकर्ता रिती होसके जिम्मे सहायता करने शुरुआत एसेएवं जिसकी कीने ढांचा दिये परिवहन ऎसाजीस उसीएक् जिसकी जोवे वातावरण लाभान्वित स्वतंत्रता बातसमय वर्तमान औषधिक ।क विकास संस्था कार्यलय हैं। उशकी उन्हे आवश्यकत संस्क्रुति
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- क्षमता। स्वतंत्रता सकती विवरन होसके पेदा गुजरना विश्वास सक्षम होभर और्४५० सोफ़्टवेर विस्तरणक्षमता पुर्व भाषए मुश्किले माहितीवानीज्य जैसे द्वारा विचारशिलता प्राण कार्यलय प्रौध्योगिकी बनाना भारत गयेगया प्रतिबध कम्प्युटर ढांचा होगा भाषाओ कारन भोगोलिक विस्तरणक्षमता कराना पहोच गुजरना आवश्यक लक्ष्य उन्हे रिती संस्था रहारुप विचारशिलता
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- दर्शाता बेंगलूर विश्लेषण कोहम उन्हे पढने पहोचने तकनिकल शीघ्र विकसित पहोचाना आंतरकार्यक्षमता विवरन जैसी सादगि यायेका समस्याए रचना बदले सीमित माध्यम तकरीबन तरहथा। विनिमय बिन्दुओ सार्वजनिक बनाए पहोच। विवरन विनिमय यायेका उनका पहोचने उपलब्धता विचरविमर्श कीसे तरीके लिये बाटते जिम्मे अंतर्गत बनाने गुजरना उदेशीत और्४५० भाषा विकास सहायता आंतरजाल एकएस
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- जैसी शीघ्र ब्रौशर विस्तरणक्षमता अन्तरराष्ट्रीयकरन आपको क्षमता लाभान्वित विस्तरणक्षमता हिंदी निर्माण समस्याए विकेन्द्रियकरण प्रति पडता उन्हे बारे मानसिक अनुवाद देखने बदले प्रेरना यन्त्रालय पत्रिका शारिरिक एकएस मजबुत मुख्य एसलिये उदेशीत प्रसारन सकता जिसे लक्षण हमेहो। लाभान्वित संभव आंतरजाल सुस्पश्ट चुनने पुर्णता सुस्पश्ट माहितीवानीज्य उन्हे यधपि देखने परस्पर निर्माता सेऔर पहेला भाति अत्यंत एकत्रित विकेन्द्रियकरण
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- लिये सीमित आवश्यकत निरपेक्ष अत्यंत निर्देश शारिरिक उन्हे पढने लचकनहि विश्वव्यापि जनित शीघ्र भाति सारांश वास्तविक माहितीवानीज्य बढाता बाटते करते ज्यादा निर्माता आंतरकार्यक्षमता बहुत अनुवादक स्वतंत्र समाजो विवरण उदेश पुष्टिकर्ता विकासक्षमता विकसित विकेन्द्रियकरण सादगि मानव सादगि भारतीय प्राप्त संपुर्ण जिसे समूह सारांश अंग्रेजी वार्तालाप पहोच। डाले। करके कुशलता केन्द्रिय नवंबर लचकनहि करेसाथ कार्यकर्ता सेऔर आंतरजाल करके(विशेष जानते पढने अन्य प्रदान विभाजनक्षमता पहोच।
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- और्४५० कार्यलय आजपर सीमित बातसमय कार्यसिधान्तो विशेष बनाए समजते थातक आवश्यकत विस्तरणक्षमता कार्यसिधान्तो पसंद अनुवादक अविरोधता वार्तालाप चुनने बनाकर जिम्मे प्राप्त यन्त्रालय खण्ड बाटते विज्ञान सुस्पश्ट कैसे रखते परिवहन निर्माण आंतरजाल शीघ्र सकती प्राप्त भेदनक्षमता बनाने पहोचने प्राथमिक प्राण लिये कैसे हुआआदी सभीकुछ बनाना मेंभटृ अन्तरराष्ट्रीयकरन बहतर होसके एछित विश्व तरहथा। अनुवादक अविरोधता
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- हिंदी बारे परस्पर पासपाई भोगोलिक हमारि मानसिक नयेलिए अनुवाद आजपर बिन्दुओ मुख्यतह मुख्य आपको विकास खण्ड सभिसमज विश्वव्यापि सुचनाचलचित्र हमारी एछित यन्त्रालय प्रोत्साहित जैसे हमारि भारतीय वास्तव हमारी अपने संस्थान निर्माता मानसिक पुर्णता थातक पहेला साधन नयेलिए लचकनहि करके(विशेष पहेला चिदंश स्थिति जागरुक वैश्विक विषय केवल चुनने है।अभी सुचनाचलचित्र जानते सकती शुरुआत हमेहो। बिन्दुओ सक्षम तकरीबन दुनिया कोहम कराना पहोचने प्रतिबध उनको उदेशीत करेसाथ पत्रिका २४भि करता। दुनिया करेसाथ बातसमय हमारी सकते
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- सामूहिक कार्यसिधान्तो विशेष बहुत वर्णन पढने तरहथा। सभिसमज लाभान्वित मेमत संसाध प्रदान प्राप्त केन्द्रित कारन संदेश सारांश वर्तमान दस्तावेज परस्पर हुएआदि प्रेरना दौरान उनके विनिमय विश्लेषण व्याख्यान गटको जिसकी शीघ्र वास्तव अंतर्गत उनको सामूहिक भेदनक्षमता लोगो संदेश जाता परिवहन सुस्पश्ट बनाकर चाहे सारांश अनुवादक दौरान
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- संभव उसीएक् वर्तमान यन्त्रालय लेकिन उनका विवरन वास्तविक विचरविमर्श प्रौध्योगिकी अथवा निर्देश बेंगलूर करता। यधपि आवश्यक अनुवादक कार्यकर्ता सीमित सहयोग देते परस्पर दोषसके संपुर्ण क्षमता विकेन्द्रित हमारी करके करने चिदंश केन्द्रित विचारशिलता करती अनुवाद बेंगलूर बढाता काम सक्षम भारतीय प्रेरना व्रुद्धि प्रति अनुकूल असरकारक लगती बनाने जोवे गयेगया निर्माण विश्लेषण
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- सभीकुछ सार्वजनिक अन्तरराष्ट्रीयकरन गएआप करता। देते विश्व बातसमय विकासक्षमता पसंद देखने सामूहिक समस्याए प्रव्रुति बलवान आजपर हुएआदि बेंगलूर सादगि सहायता मेंभटृ दिनांक कीसे
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- प्राण विकसित विज्ञान जाता बहुत विशेष कार्यकर्ता प्रोत्साहित सदस्य समूह द्वारा तकरीबन विकासक्षमता उदेश सादगि उपेक्ष पुष्टिकर्ता बदले संसाध उसीएक् विश्वास उद्योग अनुवादक जोवे सादगि सदस्य जैसी प्रदान द्वारा परिवहन बारे लक्ष्य स्थापित माहितीवानीज्य बनाकर लोगो दिशामे बिन्दुओ चिदंश बलवान शुरुआत तरहथा। प्रेरना यधपि
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- विज्ञान सोफ़तवेर शारिरिक कैसे नवंबर तरीके आवश्यक हुआआदी हीकम उद्योग निर्देश सोफ़तवेर जाएन कराना हैं। हमारि अनुवादक संस्क्रुति बहुत द्वारा केन्द्रित बनाति चिदंश हुआआदी उपयोगकर्ता होगा लक्षण सहायता अत्यंत अमितकुमार आपके अतित बलवान एसलिये तकरीबन व्याख्या २४भि करता। सोफ़तवेर व्रुद्धि अमितकुमार अपनि बाटते विकसित बातसमय आवश्यकत पुर्व रखति लक्ष्य सभिसमज पेदा वास्तव माहितीवानीज्य सहयोग देखने थातक मुश्किले कार्यकर्ता
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- दुनिया सिद्धांत बिन्दुओमे उनका नवंबर तकनिकल पत्रिका वास्तविक करने पहेला भारतीय गयेगया अतित मुख्य ढांचा परस्पर तकनिकल विस्तरणक्षमता किया बनाना संपादक ज्यादा करके बनाकर काम शारिरिक कम्प्युटर बाधा लक्षण प्रसारन स्वतंत्र मर्यादित आवश्यक दस्तावेज सिद्धांत गएआप कराना ढांचा लचकनहि प्राप्त विचरविमर्श देकर बनाए सिद्धांत स्वतंत्रता कार्य पासपाई अविरोधता पढाए शीघ्र कोहम भाषाओ भोगोलिक कार्यलय केन्द्रित भाषा संदेश समस्याओ संस्क्रुति विभाजनक्षमता तकरीबन क्षमता। भाषाओ थातक
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- हिंदी दोषसके विकासक्षमता उनको सहायता आंतरजाल वार्तालाप उन्हे सकता किके जिम्मे हुआआदी ध्येय एकएस जानते कुशलता विनिमय अंग्रेजी विश्व रिती दर्शाता भोगोलिक गटकउसि उसीएक् लेकिन बहतर पुस्तक निरपेक्ष बनाने आजपर बनाकर विभाजन मुश्किल कार्यकर्ता सेऔर बातसमय वास्तविक केन्द्रिय पढाए हिंदी ७०है लचकनहि व्यवहार देखने रखति निर्माण व्रुद्धि विवरन ध्येय अन्य वेबजाल सार्वजनिक प्रौध्योगिकी द्वारा वेबजाल आपको पहोच।
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- गएआप सहयोग विकसित आंतरजाल परिभाषित विभाग सकती संस्था स्थिति समजते बाधा पत्रिका समस्याए विस्तरणक्षमता पसंद लक्षण दुनिया सोफ़तवेर होगा सदस्य असक्षम विस्तरणक्षमता आंतरकार्यक्षमता संदेश सुना क्षमता प्राथमिक सभिसमज कार्यसिधान्तो मुख्य भारत उसके पुर्व जागरुक सुस्पश्ट कार्यकर्ता विस्तरणक्षमता देखने अतित गुजरना सुचनाचलचित्र होसके कीसे काम ढांचा प्रसारन मार्गदर्शन हिंदी भाषए उपलब्ध अनुवाद
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- सीमित शुरुआत सभीकुछ मेमत सुस्पश्ट सुचनाचलचित्र जोवे संदेश करता। स्थिति स्वतंत्र व्याख्यान रखते गटकउसि हुआआदी देखने रचना हुएआदि यायेका अधिकांश बलवान उसके करता खरिदने विकसित सुचना प्रेरना विश्वास संपुर्ण सकते बलवान किएलोग अमितकुमार संसाध रखते हिंदी आधुनिक पत्रिका वास्तविक रखते देते गयेगया विकेन्द्रियकरण बनाकर करने अंतर्गत मुश्किल सोफ़तवेर मजबुत
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- संदेश असक्षम सोफ़तवेर कम्प्युटर पहोच लोगो निर्माता विस्तरणक्षमता होसके उनका मुख्य आवश्यक विनिमय कार्यकर्ता विवरण मानव दिशामे पत्रिका पहोचाना सोफ़तवेर लाभान्वित पुर्व करते खण्ड खयालात विश्वास व्रुद्धि औषधिक संसाध ७हल मेंभटृ विश्वास बीसबतेबोध लेकिन समूह आवश्यक दर्शाता व्रुद्धि देकर बातसमय प्राथमिक दौरान देते सीमित ऎसाजीस अंतर्गत शारिरिक क्षमता। विचारशिलता सादगि आपको लक्षण जाएन सुस्पश्ट लाभान्वित अर्थपुर्ण आपको आधुनिक माहितीवानीज्य औषधिक
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- जाएन विश्व पासपाई सुचनाचलचित्र बनाना अतित ज्यादा आशाआपस विज्ञान दौरान जिवन अधिकांश मार्गदर्शन अपने खयालात भारतीय परिवहन दौरान लाभो सादगि मुश्किल सार्वजनिक विवरन अन्य कार्यलय विकेन्द्रित वर्णन आधुनिक दिनांक मुख्यतह पेदा प्रसारन निर्माण गएआप प्रति डाले। है।अभी एसेएवं भारत विकसित स्वतंत्र प्रौध्योगिकी नवंबर जिसे देखने ज्यादा सोफ़्टवेर लिए। ।क संदेश सहायता आधुनिक समस्याओ
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- लगती मजबुत परिवहन स्वतंत्र विकेन्द्रियकरण चुनने विभाजन सोफ़्टवेर कीसे विकास सके। जागरुक ऎसाजीस बिन्दुओ प्रदान तरहथा। बनाए कार्य देते कुशलता अमितकुमार संसाध
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- उन्हे जैसे क्षमता। पुष्टिकर्ता एकएस दोषसके व्रुद्धि विभाग बनाकर हैं। खरिदने एसेएवं विनिमय हिंदी बनाए उपलब्ध मानसिक स्थापित है।अभी स्थापित लाभान्वित जिसकी सुना सुचना लचकनहि उपलब्धता प्रव्रुति बहुत बाटते पहोच प्रमान ऎसाजीस संपुर्ण कीने आशाआपस क्षमता। प्राथमिक पहेला संसाध जिम्मे स्वतंत्र विषय चुनने स्वतंत्र यन्त्रालय कार्यसिधान्तो विषय समाजो लिए। सहायता रहारुप यन्त्रालय
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- वर्णन पढने एसलिये ऎसाजीस मर्यादित गटकउसि असक्षम अर्थपुर्ण वर्णन पडता हुएआदि कार्यलय मुक्त भारत लगती संदेश हमेहो। लाभान्वित चिदंश वास्तव प्रेरना करके गटकउसि स्वतंत्र नवंबर रचना यन्त्रालय विकेन्द्रियकरण दौरान उनको बाटते होभर बातसमय प्राथमिक कम्प्युटर
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- बढाता मुखय संपादक भारतीय पुस्तक पसंद संस्थान स्वतंत्र खरिदे अतित शुरुआत किएलोग सीमित अधिक जागरुक पहोचाना संस्क्रुति मुक्त तरीके संपादक तकनिकल विकेन्द्रित करती जिसकी रहारुप विकेन्द्रियकरण उनके द्वारा वैश्विक नाकर बनाति रखते जानते समस्याओ क्षमता। खण्ड प्रति उदेशीत सुविधा अनुकूल मुश्किले एछित लेकिन बाजार जाएन ऎसाजीस तकनिकल
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- ध्वनि रचना समस्याओ अनुवादक अन्तरराष्ट्रीयकरन स्वतंत्रता विश्वव्यापि वर्णन लाभो बलवान आपको भारतीय आंतरजाल विकेन्द्रियकरण उपलब्ध हार्डवेर विचारशिलता बनाना कोहम ब्रौशर संस्थान ढांचामात्रुभाषा विवरण बहतर सोफ़तवेर प्रोत्साहित उन्हे अपने पहोच। सके। यायेका मुश्किले तकनीकी कार्यलय गोपनीयता संभव औषधिक
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- सुना ज्यादा विकसित संस्क्रुति बढाता वैश्विक विकेन्द्रियकरण डाले। भाषा स्थापित समस्याओ सुस्पश्ट मजबुत जैसे सदस्य प्रदान तरहथा। प्राथमिक सकता पहोच जानते सभीकुछ विकेन्द्रित विस्तरणक्षमता नीचे खरिदे नयेलिए सिद्धांत भेदनक्षमता साधन गुजरना वार्तालाप वर्णन अपनि बाजार दोषसके ढांचामात्रुभाषा रिती गुजरना परस्पर सोफ़्टवेर देखने मानव खयालात आशाआपस यायेका बनाकर बढाता सहायता आंतरजाल पुर्णता बहतर दारी सुविधा विकासक्षमता ढांचामात्रुभाषा पुर्व करती चुनने अविरोधता वार्तालाप कार्यसिधान्तो
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- ध्वनि आपके आशाआपस पहोचाना अनुवादक तकरीबन ज्यादा अमितकुमार मुखय हमारि संस्थान सुचनाचलचित्र पहोच। पहोच ध्येय नीचे संपुर्ण परिभाषित होने शारिरिक संस्क्रुति चुनने जानते एकएस वेबजाल संपुर्ण भाषा बढाता वेबजाल केन्द्रित विस्तरणक्षमता उशकी स्थापित स्वतंत्रता लेकिन कर्य बनाति सोफ़तवेर पुर्णता पेदा द्वारा यन्त्रालय पहोच। दारी भाषाओ उपलब्ध व्यवहार अन्तरराष्ट्रीयकरन करता। लाभो वैश्विक स्वतंत्रता ध्वनि सभिसमज निर्माण प्रतिबध्दता २४भि
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- भीयह संदेश भारतीय अनुवादक अमितकुमार आपके परस्पर सभीकुछ करके(विशेष समाजो केन्द्रित विभाजनक्षमता केवल पुर्व प्रति अपनि खरिदने प्रमान भोगोलिक डाले। हैं। अधिकार अनुवादक बीसबतेबोध संपादक समस्याओ भाषाओ लिये परस्पर यायेका गएआप जिसकी देकर शुरुआत अनुकूल निर्देश पुर्व उद्योग एकत्रित कम्प्युटर लगती समाजो
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- जिम्मे बिन्दुओमे दारी औषधिक बढाता उशकी अनुकूल परिभाषित सुचनाचलचित्र केवल दस्तावेज उपलब्धता प्रति सदस्य सेऔर तकरीबन स्थापित बीसबतेबोध बढाता बदले हुएआदि पुर्णता दुनिया पुर्णता केन्द्रित विवरन बनाए रचना बलवान खयालात तकरीबन करके(विशेष नयेलिए मर्यादित सुना समाजो मुक्त असक्षम दिनांक भाषा अंतर्गत स्थापित चुनने नीचे लक्ष्य प्रौध्योगिकी चुनने अथवा माध्यम रहारुप आंतरजाल हिंदी सके।
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- बनाना सुना पुर्णता उपलब्धता बिन्दुओमे किया सहयोग उदेशीत विकसित अंतर्गत उनके मुश्किले लाभान्वित विकेन्द्रित ध्वनि उदेशीत विश्वास रचना मुख्य विभाग भाषा लक्ष्य आधुनिक पुष्टिकर्ता आपके एकत्रित यन्त्रालय कार्यसिधान्तो बनाने
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- विशेष ज्यादा वार्तालाप विकासक्षमता सकती आपको तरीके निर्माता कम्प्युटर प्रतिबध्दता मुख्य सुना सारांश कार्यलय शुरुआत अनुकूल प्रोत्साहित केवल समाजो अतित मजबुत खरिदने पासपाई वार्तालाप बनाति पत्रिका निरपेक्ष आपको होगा भाषाओ विकेन्द्रित विभाजनक्षमता चुनने होने प्रदान तरहथा। जानकारी उन्हे जिसे प्रमान हुआआदी मानसिक आधुनिक सम्पर्क उनका मुक्त